THE SINGLE BEST STRATEGY TO USE FOR पारद शिवलिंग की पहचान

The Single Best Strategy To Use For पारद शिवलिंग की पहचान

The Single Best Strategy To Use For पारद शिवलिंग की पहचान

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यावेळी 'ओम नमः शिवाय, ओम् त्रयंबकम् यजामहे सुगंधिम् पुष्टिवर्धनम्। उर्वारुकमिव बंधनात् मृत्योर्मुक्षीय मामृतात् इत्यादी मंत्रांचा उच्चार करा. शिवलिंगाची प्रतिष्ठापना करण्यासाठी लक्षात घ्या की, पूजा करताना तुमचे तोंड पूर्व-उत्तर दिशेला असावे. दररोज सकाळी नियमित पूजा करावी, असे केल्याने सकारात्मक लाभ होतो. तर श्रावण किंवा शिवरात्रीच्या सोमवारी विशेष पूजा करा.

ग्रंथों में बताया गया है कि पारद स्वयं सिद्ध धातु होती है। इसका वर्णन चरक संहिता समेत कई पुराणों में मिलता है।

पारद शिवलिंग मंत्र : पारद शिवलिंग की पूजा कैसे की जाती हे?

अपने जीवन में खुशहाली पाने के लिए पराद शिवलिंग की पूजा करना काफी लाभदायक होता है। इससे घर परिवार में सुख-शांति बनी रहती है और धन की कमी नहीं होती।

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इसकी नियमित पूजा करने से भगवान शिव की कृपा प्राप्त होती है, जो जीवन के हर क्षेत्र में सफलता दिलाती है।

पारद शिवलिंगाच्या दर्शनाने मोठी पापे दूर होतात.

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शक्ति का महत्त्व और उसकी आराधना कैसे की जाती हे

पारद शिवलिंग ज्या घरात असेल तेथे अकाल मृत्यू चे भय राहत नाही.

स्फटिक शिवलिंग को घर में स्थापित करने से भी अनेक लाभ प्राप्त होते हैं, जैसे:

पारद श्री यंत्र की स्थापना से पूर्व श्री यंत्र मन्त्र “ॐ श्रीं ह्रीं श्रीं नम:” और “ॐ श्रीं ह्रीं श्रीं कमले कमलालये प्रसीद प्रसीद श्री ह्रीं श्री ॐ महालक्ष्म्यै नम:” का जाप करें।

स्वयंभू शिव: स्फटिक शिवलिंग को भगवान शिव का स्वयंभू रूप माना जाता website है। अर्थात, यह प्राकृतिक रूप से निर्मित होता है और किसी बाहरी प्रक्रिया से नहीं।

Worship of this ling is believed to cleanse a person of varied crimes Specially, govadha (cow slaughter), killing a Brahmin, killing a toddler and this sort of identical crimes. Worshiping this ling consistently and performing good karma a person can attain salvation or Moksha.

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